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कोलकाता39 मिनट पहले
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कोयला घोटाले की जांच के सिलसिले में CBI ने दिसंबर में कोलकाता के एक CA के दफ्तर में भी छापा मारा था।- फाइल फोटो।
पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनाव से ठीक पहले सेंट्रल इंवेस्टिगेशन ब्यूरो (CBI) एक्शन में आ गई है। शुक्रवार को CBI ने कोयला घोटाला मामले में बंगाल के पुरुलिया, बांकुरा, बर्दवान और कोलकाता में 13 जगहों पर छापेमारी की। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, ये छापेमारी युवा तृणमूल कांग्रेस के नेता विनय मिश्रा, व्यवसायी अमित सिंह और नीरज सिंह के ठिकानों पर हुई है। छापे के दौरान कोई भी घर पर मौजूद नहीं था। इसके पहले 11 जनवरी को प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने हुगली, कोलकाता, उत्तर 24 परगना, आसनसोल, दुर्गापुर, बर्धमान में छापेमारी की थी।
TMC नेताओं पर ही लगे हैं आरोप
कोयला घोटाला मामले में TMC के नेताओं पर ही आरोप है। इसमें मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के भतीजे अभिषेक बनर्जी का नाम भी आ चुका है। आरोप है कि बंगाल में अवैध रूप से कई हजार करोड़ के कोयले का खनन किया गया और एक रैकेट के जरिए इसे ब्लैक मार्केट में बेचा गया। इस मामले में दिसंबर के शुरुआती हफ्तों में भी CBI ने कोलकाता के CA गणेश बगारिया के दफ्तर में छापा मारा था।
सितंबर में जांच शुरू हुई; कोर्ट ने CBI को मंजूरी दी
पिछले साल सितंबर में कोयला घोटाले की जांच शुरू हुई। तब से BJP इसके लिए TMC पर आरोप लगाती रही है। BJP नेताओं का कहना है कि कोयला घोटाले से मिली ब्लैक मनी को TMC के नेताओं ने शेल कंपनियों के जरिए व्हाइट मनी में बदला। इसमें सबसे ज्यादा फायदा मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के भतीजे अभिषेक बनर्जी को हुआ है। अभिषेक बनर्जी TMC की युवा विंग के अध्यक्ष हैं। उन्होंने अपनी पार्टी में विनय मिश्रा समेत 15 युवाओं को महासचिव बनाया था। विनय मिश्रा शुरू से ही कोयला घोटाले के आरोपी हैं। TMC ने CBI जांच पर रोक लगाने के लिए हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी, जिसे कोर्ट ने नामंजूर कर दिया था।